Gas Stove Generate Electricity

उदयपुर.मानसून आते ही एक ओर जहां गांव के साथ शहरों को भी बिजली समस्या से दो चार होना पड़ रहा है। वहीं, चीरवा गांव निवासी गोवर्धन ने अपने स्तर पर इन समस्याओं का एक हल ढूंढ निकाला है। बता दें कि आठवीं पास रूपसागर घर पर ही बिजली उत्पादन कर अपने घर में सप्लाई करता है। घर के लिए बिजली भी बनाता है और परिवार की पालता है...
- जिस यंत्र से वह बिजली उत्पादन करता है, उसी से घर का खाना भी पकाता है और दुकान पर उसी से चाय बनाकर घर परिवार को भी पालता है।
- कुल मिलाकर कहा जाए तो थ्री इन वन चूल्हा। शहर के लोग इस यंत्र से अंजान हैं वहीं गांव के एक आठवीं पास युवक ने कई सामानों के एसेंबल से जुगाड़ बनाया।
फैक्ट्री में काम करते-करते आया दिमाग में आइडिया और बन गया इंजीनियर
-आठवीं तक की पढ़ाई करने के बाद स्कूल से नाता तोड़ चुके गोवर्धन दिमाग से किसी इंजीनियर से कम नहीं हैं।
- वो बताते हैं कि किसी पंखे की फैक्ट्री में काम करते-करते उन्हे ये आइडिया आया। शहर से कुछ सामान लाकर उन्होंने खुद एसेंबल कर ये हाईटेक चूल्हे बनया।
- चूल्हा भले ही लकड़ी या गोबर से जलता हो लेकिन उसके काम कई हैं। चूल्हे से पहला काम चाय बनाना है। चाय बनाते-बनाते उसके अंदर मौजूद यंत्र से करंट पैदा होता है। उसमें प्लग सिस्टम लगा है जिससे आप फोन चार्ज करने के साथ लाइट भी जला सकते हैं। 
बिजली नहीं मिली तो खुद बिजली तैयार करने का आया ख्याल
- गोवर्धन बताते हैं कि उनके गांव में बिजली नहीं के बराबर आती है। लोग मोबाइल चार्ज करने के लिए इधर उधर भटकते रहते हैं।
- गांव से छह किलोमीटर दूर जाकर मोबाइल चार्ज करना पड़ता है।
- बिजली किल्लत से होने वाली समस्याओं से परेशान होकर फैक्ट्री में काम करते करते आखिर इसके निर्माण करने का ख्याल आया।
पहले नहीं मिली सफलता, पर हार नहीं मानी और मेहनत रंग लाई
-इसे बनाने के दो महीने बाद तक भी यह काम नहीं किया तो गोवर्धन को लगा कि यह उसके बस की बात नहीं है लेकिन बार-बार मशीनों को जोड़ने और इधर-उधर कनेक्ट कर देखने के बाद आखिरकार बत्ती जल गई। इसके साथ ही उसकी मेहनत रंग लाई।
- वो बताते हैं कि सरकार भी इस यंत्र को बनाने का काम कर रही है। बहुत जल्द गांवों में, जहां बिजली की समस्या ज्यादा है वहां इसे प्रयोग करने की योजना बनाई जा रही है।

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